आखिर क्यों सुशांत केस में ऐसा लग रहा जैसे महाराष्ट्र Government किसी का बचाव कर रही?
1 min readअभिनेता सुशांत सिंह राजपूत डेथ केस का मामला लोगों के भावनाओं से जुड़ता जा रहा है. लोग जानना चाह रहे है कि अभिनेता ने आत्महत्या क्यों की? कहीं किसी साजिश के शिकार तो नहीं हुए. मामला हाई प्रोफाइल होने के बाद भी मुंबई पुलिस ने कोई एफआईआर दर्ज नहीं की. महाराष्ट्र सरकार (Government) के नेताओं के बोल भी बिगड़ने लगे. बिहार पुलिस को जांच में सहयोग नहीं करना इन सब कारणो से लोगों को लग रहा है कि महाराष्ट्र सरकार(Government) किसी को बचा रही है. कुछ ऐसी घटना है, जो महाराष्ट्र सरकार को कठघरा में खड़ा कर रहा है.
बिहार पुलिस का सहयोग नहीं करना
सुशांत सिंह राजपूत के पिता ने पटना में रिया चक्रवर्ती और उसके फैमिली के खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाए थे. जिसके जांच में गई पटना पुलिस के अधिकारीयों को मुंबई पुलिस से कोई सहयोग नहीं मिला. वे एक दफ्तर से दूसरे दफ्तर धक्का खाते रहे. वही जब वे मीडिया से बात करना चाह रहे थे तो उन्हें बलपूर्वक रोका गया.
एसपी को जबरन क्वारंटीन करना
जब जांच में सहयोग करने बिहार के डीजीपी ने आईपीएस विनय तिवारी को महाराष्ट्र भेजा तो बीएमसी ने जबरन उन्हें १४ दिनों के लिए क्वारंटीन कर दिया. विनय तिवारी अधिकारी काम से आए थे. वह भी महाराष्ट्र पुलिस को बता कर गए थे. इसके बाद भी महाराष्ट्र पुलिस ने ना ही रहने के लिए कोई इंतजाम किया बल्कि विनय तिवारी को क्वारंटीन कर दिया. सुशांत सिंह राजपूत के परिवार पर गलत आरोप लगाना. शिवसेना के नेता संजय राउत ने सुशांत सिंह राजपूत के परिवार पर गलत आरोप लगाते हुए कहा कि सुशांत सिंह के पिता दूसरी शादी किए हुए थे जिसको लेकर अभिनेता परेशान थे. इसके बाद यह लगने लगा कि महाराष्ट्र सरकार (Government) किसी को बचाना चाहती है. इसलिए मामला को दूसरा रंग देने की कोशिश की जा रही है.
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